सीएम ने ‘स्वच्छ शहर-समृद्ध शहर’ पहल और ‘एक राज्य एक पोर्टल’ का किया शुभारंभ, मिलेंगी नौ सेवाएं

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मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने शहरी विकास विभाग की ओर से पीटरहॉफ में आयोजित कार्यक्रम में कहा कि एक राज्य-एक पोर्टल पहल के तहत नागरिक सेवा पोर्टल को आरंभ करने का उद्देश्य

राज्य के सभी शहरी स्थानीय निकायों में एक एकीकृत एंड-टू-एंड ऑनलाइन समाधान प्रदान करना है।

मुख्यमंत्री सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने शहरी विकास विभाग के महत्वाकांक्षी कार्यक्रम स्वच्छ शहर-समृद्ध शहर पहल और नागरिक सेवा पोर्टल का शुभारंभ किया। एक राज्य एक पोर्टल पहल के तहत नागरिक सेवा पोर्टल citizenseva.hp.gov.in प्लेटफॉर्म पर उपलब्ध होगा। अब शहरी निकायों में ऑनलाइन 9 आवश्यक सेवाएं प्रदान की जाएंगी, जिनमें 7 सेवाएं नागरिकों की आवश्यकताओं के अनुरूप और दो शहरी स्थानीय निकायों के प्रबंधन के लिए डिजाइन की गई हैं। इसके माध्यम से व्यापार लाइसेंस, संपत्ति कर प्रबंधन, शिकायत निवारण, सामुदायिक स्थानों की बुकिंग सहित अनेक जन सेवाएं लोगों को ऑनलाइन उपलब्ध होंगी। आने वाले समय में इस प्लेटफार्म के माध्यम से 45 सेवाएं प्रदान की जाएंगी।
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सीएम ने शहरी विकास विभाग की ओर से पीटरहॉफ में आयोजित कार्यक्रम में कहा कि एक राज्य-एक पोर्टल पहल के तहत नागरिक सेवा पोर्टल को आरंभ करने का उद्देश्य राज्य के सभी शहरी स्थानीय निकायों में एक एकीकृत एंड-टू-एंड ऑनलाइन समाधान प्रदान करना है। स्वच्छ शहर-समृद्ध शहर कार्यक्रम के तहत शहरी स्थानीय निकायों में स्वच्छता, पर्यावरण संरक्षण और कचरे के प्रबंधन के लिए विभिन्न पहल की जाएगी। सीएम कहा कि सिटीजन सेवा पोर्टल के माध्यम से कूड़ा संग्रहण और बिल जारी करने के लिए शहरी क्षेत्रों के 2 लाख 82 हजार घरों के गारबेज आईडी बनाए जाएंगे। भविष्य में इन सभी पंजीकृत इकाइयों को डिजिटल पहचान प्लेट्स प्रदान की जाएंगी।

सुक्खू ने कहा कि शहरी निकायों में पार्किंग, पार्क व अन्य सुविधाओं का विस्तार किया जा रहा है। शिमला शहर को ईज़-ऑफ लिविंग इंडेक्स में पहला स्थान प्राप्त हुआ है। उन्होंने कहा कि आपसी सहयोग से हिमाचल प्रदेश को ई-गवर्नेंस और नागरिक सशक्तिकरण का मॉडल राज्य बनाया जाएगा। प्रदेश में पेयजल को स्वच्छ बनाने के लिए विश्व स्तरीय तकनीक का उपयोग करने की योजना तैयार की गई है। इसको लेकर शिमला शहर में पायलट आधार पर प्रोजेक्ट शुरू किया जाएगा, जिसमें ओजोन और यूवी तकनीक का उपयोग किया जाएगा।

वार्ड स्तर पर 10 फरवरी से आयोजित होंगे समाधान शिविर
सीएम ने कहा कि 10 फरवरी से सभी शहरी स्थानीय निकायों में सार्वजनिक शिकायतों के समाधान के लिए वार्ड स्तर पर समाधान शिविर आयोजित किए जाएंगे। यह दो माह तक चलेंगे। सीएम ने नवनिर्मित शहरी स्थानीय निकायों को कचरा संग्रहण वाहन खरीदने के लिए 10.62 लाख रुपये प्रति निकाय वित्तीय सहायता प्रदान की। उन्होंने स्थानीय निकायों को ऑनलाइन भुगतान के लिए पीओएस मशीनें भी प्रदान कीं। उन्होंने शहरी विकास विभाग के आईईसी प्लान की पुस्तिका का विमोचन भी किया।

आईआईटी रोपड़, जीआईजेड के साथ समझौता ज्ञापनों पर हुए हस्ताक्षर
शहरी विकास मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने कहा कि नागरिकों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध करवाना प्रदेश सरकार का दायित्व है। इस अवसर पर शहरी विकास विभाग ने आईआईटी रोपड़ और जीआईजेड के साथ शहरी सतत पहलों के तहत दो समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए। इसका उद्देश्य शोध, नवाचार कचरा प्रबंधन तकनीकों सहित अन्य विषयों पर आपसी साझेदारी व समन्वय से कार्य करना है। इस अवसर पर प्रधान सचिव शहरी विकास देवेश कुमार, निदेशक डॉ. नीरज कुमार ने मुख्यमंत्री और गण्यमान्य अतिथियों का आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम में विधायक संजय अवस्थी, नगर निगम शिमला के महापौर सुरेन्द्र चौहान, शहरी निकायों के प्रतिनिधि उपस्थित थे।—अमर उजाला से साभार